भारत और समकालीन विश्व-2 (इतिहास ) अध्याय 1. यूरोप में राष्ट्रवाद का उदय NCERT SOLUTION BY GAYATRI COACHING CLASSES
भारत और समकालीन विश्व-2 (इतिहास )
अध्याय 1. यूरोप में राष्ट्रवाद का उदय
कक्षा - 10th
सामाजिक विज्ञान
अध्याय 1. यूरोप में राष्ट्रवाद का उदय..........Download......
पाठ्यवस्तु
अरनेस्ट रेनर के अनुसार समान भाषा, नस्ल, धर्म से बने क्षेत्र को राष्ट्र कहते हैं। एक राष्ट्र लंबे प्रयासों, त्यागो और निष्ठा का चरम बिंदु होता है। अपने राष्ट्र के प्रति प्रेम की भावना को राष्ट्रवाद कहते हैं।
* उदारवाद यानि Liberalism शब्द लातिनी भाषा के मूल शब्द liber पर आधारित है। जिसका अर्थ है स्वतंत्रता। नए मध्यम वर्ग के लिए उदारवाद का अभिप्राय था व्यक्ति के लिए आज़ादी व कानून के समक्ष समानता।
* निरंकुशवाद :- एक ऐसी सरकार या शासन व्यवस्था जिसकी सत्ता पर किसी प्रकार का कोई अंकुश नहीं होता।
जनमत संग्रह :- एक प्रत्यक्ष मतदान जिसके द्वारा एक क्षेत्र की सारी जनता से किसी प्रस्ताव को स्वीकार या अस्वीकार करने के लिए पूछा जाता है।
* यूटोपिया (कल्पनादर्श) :- एक ऐसे समाज की कल्पना जो इतना आदर्श है कि उसका साकार होना लगभग असंभव होता है।
* रूमानीवाद : एक ऐसा सांस्कृतिक आंदोलन जो एक खास तरह की राष्ट्रीय भावना का विकास करना चाहता था।
* जुंकर्स :- प्रशा की एक सामाजिक श्रेणी का नाम जिसमें बड़े बड़े जमींदार शामिल थे।
* राष्ट्रवाद के उदय में कारण:- निरंकुश शासन व्यवस्था, उदारवादी विचारों का प्रसार, स्वतंत्रता, समानता तथा बंधुत्व का नारा, शिक्षित मध्य वर्ग की भूमिका थी। यूरोप में राष्ट्रवाद का क्रमिक विकास: फ्रासीसी क्रांति 1789 वियना की संधि 1815 1859-1871 उदारवादियों की क्रांति 1848 जर्मनी का एकीकरण 1866-1871 नागरिक संहिता 1804 इटली का एकीकरण
* यूरोप में राष्ट्रवाद का निर्माण:- किसी भी राष्ट्र के निर्माण के लिए एक सामूहिक पहचान, संस्कृति परंपरा आदि का समान होना जरूरी है।
* यूरोपीय समाज की संरचना (19वी शताब्दी के पहले) : यूरोपियन समाज असमान रूप से दो भागों में विभाजित था। उच्च वर्ग
(कुलीन वर्ग) :- जनसंख्या में कम वर्चस्व, जमाने वाला, जमींदार यानी ढेर सारे खेतों के मालिक, सभी अधिकार दिए जाते थे।निम्न वर्ग (कृषक वर्ग): जनसंख्या में अधिक जमीन हीन यानी या तो जमीन न थी या तो किराए पर रहते थे, किसी भी प्रकार के अधिकार नहीं दिए जाते थे। नया मध्यवर्ग:- उन्नीसवीं सदी के बाद एक नया वर्ग जुड़ गया वह था, वह है नया मध्यवर्ग। इसमें सभी पढ़े लिखे लोग थे जैसे: शिक्षक, डॉक्टर, उद्योगपति, व्यापारी आदि।
* उदारवादी राष्ट्रवाद :- इस उदारवादी राष्ट्रवाद के चलते राष्ट्रवाद का विचार सब जगह फैलने लगा। इससे एक राज्य के अंदर जो भी नियंत्रण (चीजों तथा पूंजी के आगमन पर था उसे खत्म कर दिया गया लेकिन अलग अलग राज्यों के बीच के नियंत्रण यानी सीमा शुल्क को खत्म नहीं कर पाया।
जॉलवेराइन:- यह एक जर्मन शुल्क संघ था जिसमें अधिकांश जर्मन राज्य शामिल थे। यह संघ 1834 में प्रशा की पहल पर स्थापित हुआ था। इसमें विभिन्न राज्यों के बीच शुल्क अवरोधों को समाप्त कर दिया गया और मुद्राओं की संख्या दो कर दी गई। जो पहले बीस से भी अधिक थीं यह संघ जर्मनी के आर्थिक एकीकरण का प्रतीक था।
* यूरोप में राष्ट्रवाद :- यूरोप में राष्ट्रवादी चेतना की शुरुआत फ्रांस से होती है। 1789 की फ्रांसीसी क्रांति: फ्रांसीसी क्रांति के आरंभ से ही फ्रांसीसी क्रांतिकारियों ने ऐसे अनेक कदम उठाए जिनसे फ्रांसीसी लोगों में एक सामूहिक पहचान (राष्ट्रवाद) की भावना पैदा हो सकती थी।
* फ्रांसीसी क्रांति एवं राष्ट्रवाद की प्रमुख विशेषताए: संविधान आधारित शासन। समानता, स्वतंत्रता, बंधुत्व जैसे विचारा नया फ्रांसीसी तिरंगा झंडा नेशनल असेंबली का गठना आंतरिक आयात निर्यात शुल्क समाप्तामाप तौल की एक समान व्यवस्था। फ्रेंच को राष्ट्र की साझा भाषा बनाया जाना था।
* नेपोलियन का शासन काल : नेपोलियन का जन्म 15 अगस्त 1769 को हुआ। नेपोलियन एक महान सम्राट था जिसने अपने व्यक्तित्व एवं कार्यों से पूरे यूरोप के इतिहास को प्रभावित किया।जब नेपोलियन फ्रांस पर अपना शासन चलाना शुरू किया तो प्रजातंत्र को हटाकर राजतंत्र को स्थापित कर दिया। 1804 की नेपोलियन संहिता (नागरिक संहिता):- इसे 1804 में लागू किया गया। इसने जन्म पर आधारित विशेषाधिकारों को समाप्त कर दिया। इसने न केवल न्याय के समक्ष समानता स्थापित की बल्कि सम्पत्ति के अधिकार को भी सुरक्षित किया।
* रूढ़िवाद :- ऐसा राजनीतिक दर्शन जो परंपरा, स्थापित संस्थानों और रिवाजों पर जोर देता है और तेज बदलावों की बजाए क्रमिक और धीरे धीरे विकास को प्राथमिकता देता है। 1815 के उपरांत यूरोप में रूढ़िवाद: 1815 में नेपोलियन की हार के उपरांत यूरोप की सरकारों का झुकाव पुनः रूढ़िवाद की तरफ बढ़ गया।
वियना कांग्रेस :- 1815 में ब्रिटेन, प्रशा, रूस और ऑस्ट्रिया जैसी यूरोपीय शक्तियों (जिन्होंने मिलकर नेपोलियन को हराया था) के प्रतिनिधि यूरोप के लिए एक समझौता तैयार करने के लिए वियना में इकट्ठा हुए जिसकी अध्यक्षता आस्ट्रियन के चांसलर ड्यूक मैटरनिख ने की।
संधि के तहत मुख्य 3 निर्णय लिया गया: पहला फ्रांस की सीमाओं पर कई राज्य कायम कर दिया गया ताकि भविष्य में फ्रांस अपना विस्तार ना कर सके। फ्रांसीसी क्रांति के दौरान हटाए गए बूर्वो वंश को सत्ता में बहाल किया गया। भूख कठिनाई और जन विद्रोह :- 1830 को कठिनाइयों का महान साल भी कहा जाता है, क्योकि जबरदस्त जनसंख्या वृद्धि, नागरिको का गांव से शहर की ओर पलायन, बेरोजगारी में वृद्धि, गरीबी में वृद्धि, इसी सालों के दौरान फसल बर्बाद हो जाना, खाद्य सामग्री की कीमतें बढ़ जाना आदि इन सभी कारणों से लोगों ने सरकार के खिलाफ विद्रोह कर दिया जिसे कृषक विद्रोह के नाम से जाना गया, तत्पश्चात यूरोपियन सरकार को गणतंत्र राज्य घोषित कर दिया गया।
गणतंत्र के बाद फ्रांस में 21 साल से अधिक उम्र के लोगों को वोट डालने का अधिकार, सभी नागरिकों को काम के अधिकार की गारंटी, रोजगार उपलब्ध कराने के लिए कारखाने उपलब्ध कराने के कानून बनाए गए
जर्मनी का एकीकरण :- 1848 में यूरोपियन सरकार ने बहुत कोशिश की कि वे जर्मनी का एकीकरण कर दे परंतु वह ऐसा नहीं कर पाए, क्योंकि राष्ट्र निर्माण की यह उदारवादी पहल राजशाही और फौज की ताकत ने मिलकर दबा दी, उसके बाद प्रशा ने यह भार अपने ऊपर लेते हुए कहा कि वे जर्मनी का एकीकरण करके ही रहेंगे।
उस समय प्रशा का प्रधानमंत्री ऑटोमन बिस्मार्क था जिसके नेतृत्व में प्रशा ने एक राष्ट्रीय एकीकरण के आंदोलन का सुत्रपात किया। 7 वर्ष के दौरान ऑस्ट्रिया, डेनमार्क और फ्रांस से तीन युद्धों में प्रशा की जीत हुई और एकीकरण की प्रक्रिया पूरी हुई। 1871 में केसर विलियम प्रथम को नए साम्राज्य का राजा घोषित किया गया। जर्मनी के एकीकरण ने यूरोप में प्रशा को महाशक्ति के
रूप में स्थापित
इटली का एकीकरण :- इटली सात राज्यों में बँटा हुआ था।1830 के दशक में ज्यूसेपे मेत्सिनी ने इटली के एकीकरण के लिए कार्यक्रम प्रस्तुत किया। 1830 एवं 1848 के क्रांतिकारी विद्रोह असफल हुए। 1859 में फ्रांस से सार्डिनिया पीडमॉण्ट ने एक चतुर कूटनीतिक संधि की जिसके माध्यम से उसने आस्ट्रियाई बलों को हरा दिया। 1861 में इमेनुएल द्वितीय को एकीकृत इटली का राजा घोषित किया गया।इटली के एकीकरण की प्रक्रिया में तीन व्यक्तियों का महत्त्वपूर्ण स्थान हैं। ज्यूसेपे मेत्सिनी, काउंट कैमिलो दे कावूर, ज्यूसेपे गैरीबॉल्डी
ब्रिटेन में राष्ट्रवाद :- औद्योगिक क्रांति के बाद ब्रिटेन की आर्थिक शक्ति बहुत ज्यादा बढ़ गई थी। 18 वी शताब्दी से पूर्व ब्रिटेन एक राष्ट्र राज्य नहीं था। बल्कि अंग्रेज, वेल्श, स्कॉट या आयरिश जैसे ढेर सारा समाज था जिसे नृजातीय कहते थे। आंग्ल-राष्ट्र ने अपनी शक्ति में विस्तार के साथ साथ अन्य राष्ट्रों व द्वीप समूहों पर विस्तार आरंभ किया। 1688 में संसद ने राजतंत्र से शक्तियों को ले लिया। 1707 में इंग्लैण्ड और स्कॉटलैंड को मिलाकर यूनाइटेड किंगडम ऑफ ब्रिटेन का गठन किया गया। 1798 में हुए असफल विद्रोह के बाद 1801 में आयरलैंड को बलपूर्वक यूनाइटेड किंगडम में शामिल कर लिया गया।
बाल्कन समस्या :- बाल्कन भौगोलिक एवं नृजातिय रूप से विभिन्नताओं का क्षेत्र था जिसमें आधुनिक रूमानिया, बल्गारिया अल्बेनिया, ग्रीस, मकदूनिया, क्रोएशिया, स्लोवानिया, सर्बिया आदि शामिल थे।इन क्षेत्रों में रहने वाले मूलनिवासियों को स्लाव कहा जाता था। बाल्कन क्षेत्र का एक बड़ा हिस्सा ऑटोमन साम्राज्य के नियंत्रण में था। जैसे जैसे विभिन्न स्लाव राष्ट्रीय समूहों ने अपनी पहचान और स्वतंत्रता की परिभाषा तय करने की कोशिश की, बाल्कन क्षेत्र गहरे टकराव का क्षेत्र बन गया।
साम्राज्यवाद :- जब कोई देश, अपने देश की शक्ति को, सेना और अन्य साधन का प्रयोग करके बढ़ाता हैं साम्राज्यवाद कहते हैं
प्रश्न-1. सही विकल्प चुनकर लिखिए -
1. विश्वकोश' नामक ग्रंथ की रचना किसने की-
(A) दिदरो (B) नेकर (C) रूसो (D) वाल्टेयर
उत्तर - (A) दिदरो
2.जर्मनी में एकीकरण की आधारशिला किसने रखी-
(A) नेपोलियन III (B) विलियम प्रथम
(C) विस्मार्क (D) नेपोलियन बोनापार्ट
उत्तर - (D) नेपोलियन बोनापार्ट
3. राष्ट्रवाद को चित्रों के माध्यम से दशनिवाला फ्रांसीसी कलाकार है-
(A) इमेनुएल II (B) हेब्स बर्ग (C) फ्रेड्रिक सारयु (D) मेटसिनी
उत्तर - (C) फ्रेड्रिक सारयु
4.आंखों पर पट्टी बंधे हुए और तराजू लिए हुए महिला किस बात का प्रतीक है-
(A) न्याय (B) स्वतंत्रता (C) शांति। (D) साक्षरता
उत्तर - . (A) न्याय
प्रश्न:- 02 रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिये-
1. राष्ट्रवाद की पहली अभिव्यक्ति सन........... में फ्रांसीसी क्रांति के साथ हुई। Ans 1789
2. 1804 की नागरिक संहिता जिसे आमतौर पर....नेपोलियन...संहिता के नाम से जाना जाता है।
3. फ्रांसीसी कलाकार फ्रेडरिक सारियु ने .. 4. ...चित्रों की श्रृंखला बनाई. (2/4)
4. फ्रांस का झंडा ...तिरंगा.....है. (तिरंगा / दो रंगा)
5. राइनलैंड का डाकिया.............. को कहा गया. (नेपोलियन/गेरीबाल्डी)
6. पूर्वी और मध्य यूरोप के जागीरदारों की जमीनों पर खेती ......करते थे. (भूदास/ मजदूर) Ans - भूदास
7. उदारवादी लोग सबके लिए.........के पक्ष में नहीं थे. (मताधिकार/ न्याय) Ans - मताधिकार
8. कपडे मापने का पैमाना....ऐले.....था (ऐले/मीटर)
9. वियना की संधि के बाद फ्रांस में......बुर्बो....... राजवंश की सत्ता स्थापित हुई. (बुर्बो/रोमनाव)
10. उदारवादी राष्ट्रवादी मुख्यतः ....प्रेस.....की आज़ादी चाहते थे.(प्रेस/बोट)
11. यंग इटली की स्थापना ......मेत्सिनी...ने की थी. (मेत्सिनी / गेरीबाल्डी)
12. फ्रांस की दूसरी क्रांति......1830... में हुई. (1789/1830)
13.....कुस्तुन्तुनिया... संधि ने यूनान को स्वतंत्र राष्ट्र की मान्यता दी. (वियना/कुस्तुन्तुनिया)
14. जर्मन संघ का सबसे बड़ा क्षेत्र......प्रशा..था |(प्रशा/राइनलैंड)
15. फ्रैंकफर्ट संसद का आयोजन में.....सेंट पॉल चर्च... हुआ. (सेंट पॉल चर्च / बर्लिन पैलेस)
16. प्रशा के बड़े भूमि स्वामी ....जुकेर्स...कहलाते थे | (जुकेर्स/कुलक)
17. गाँड सेव अवर नोबल किंग........…. का राष्ट्रगान है | (ब्रिटेन/फ्रांस)
उत्तर - ब्रिटेन
प्रश्न03. सही जोड़ी बनाइ्ये :-
स्तंभ - (i) स्तंभ - (ii)
(i) योहान गाटफ्रीड. (अ) इंग्लॅण्ड
(ii) कैरोल कुर्पिसकी (ब) प्रशा
(iii) यूजीन देलाक्रोवा (स) इटली
(iv) गेरीबाल्डी (द) फ़्रांस
(v) बिस्मार्क (ई) पोलैंड
(vi) लार्ड बायरन (फ) जर्मनी
स्तंभ - (i). स्तंभ - (ii)
प्रतीक. महत्त्व
1. टूटी हुई बेड़ियाँ अ. एक नए युग का सूत्रपात
2. बाज छाप वाला कवच. ब. 1848 में प्रतिबंधित उदारवादी राष्ट्रवाद का जर्मन झंडा
3. बलूत पत्तियों का मुकुट स. शांति की चाह
4. तलवार द. मुकाबले की तैयारी
5. तलवार पर लिपटी जैतून की डाली ई. वीरता
6. काला, लाल और सुनहरा तिरंगा फ. जर्मन समुदाय की प्रकृति शक्ति
7. उगते सूर्य की किरणें ग. आजादी मिलना
(क)
(ख)
1. नेपोलियन की पराजय,
(अ) नाविक
2. वियना संधि का सदस्य नहीं
(ब) बिस्मार्क
3. ज्यूसेपे गैरीबाल्डी,
(स) 1815 वाटरलू में,
4. रक्त और लौह की नीति,
(द) राष्ट्रीय प्रतीक
5. मारीआन की प्रतिमाएं,
(य) अमेरिका
उत्तर
(1)(6)(फ) (ii) (ई) (iii) (द) (iv) (स) (v) (ब) (vi) (अ) 2)ⅰ) (अ) (ii) (ब) (iii) (स) (iv) (द) (v) (ई) (vi) (फ) (vii) (ग) (2)(i) (3)1-स, 2-, 3- अ, 4 ब, 5द ।
प्रश्न 04. एक शब्द / वाक्य में उत्तर लिखिए-
1. ऐसी सरकार या शासन व्यवस्था जिसकी सत्ता पर किसी प्रकार का कोई अंकुश नहीं होता क्या कहलाती है?
उत्तर — निरंकुशवाद
2. नृजातीय से आप क्या समझते हैं?
उत्तर — एक साझा नस्ली, जनजातीय या सांस्कृतिक उद्म अथवा पृष्ठभूमि जिसे कोई समुदाय अपनी पहचान मानता है।
3. कल्पनादर्श (यूटोपिया) क्या है?
उत्तर — एक ऐसे समाज की कल्पना जो इतना आदर्श है कि उसका साकार होना लगभग असंभव होता है।
4. 'रूपक' से आपका क्या तात्पर्य है?
उत्तर — जब किसी अमूर्त विचार (जैसे- स्वतन्त्रता, मुक्ति, ईर्ष्या, लालच आदि) को किसी व्यक्ति या किसी चीज द्वारा इंगित किया जाता है तो उसे रूपक कहा जाता है।
5. फ्रेडिक सॉरयू कौन था ?
उत्तर — फ्रेडिक सॉरयू एक फ्रांसीसी चित्रकार था। 1848 ई० में उसने चार चित्रों की श्रृंखला के माध्यम से गणतंत्र, स्वतंत्रता, ज्ञानोदय, राष्ट्र आदि के आदर्श को प्रस्तुत किया।
6. नेपोलियन बोनापार्ट कौन था ?
उत्तर — नेपोलियन बोनापार्ट फ्रांस का एक महान सेनानायक था जिसके नेतृत्व में फ्रांस ने अनेक विजय प्राप्त की। बाद में उसे फ्रांस का पहला सम्राट घोषित किया गया। उसके द्वारा उदारवादी शासन व्यवस्था के लिए बनाई गई आचार संहिता प्रसिद्ध है।
7. काउंट कैमिलो दे कावूर कौन था ?
उत्तर — काउंट कैमिलो दे कावूर इटली के सार्डीनिया-पीडमॉण्ट राज्य का मंत्री प्रमुख था। उसने इटली के प्रदेशों को एकीकृत करने वाले आन्दोलन का नेतृत्व किया।
8. ज्युसेपी मेत्सिनी कौन था ?
उत्तर — ज्युसेपी मेसिनी इटली का एक महान क्रांतिकारी था।
9. ज्युसेपी मेत्सिनी का जन्म कब और कहाँ हुआ था ?
उत्तर — ज्यूसेपी का जन्म 1807 ई० में जेनोआ में हुआ था।
10. 'यंग इटली' क्या था? इसकी स्थापना किसने की?
उत्तर — यंग इटली एक गुप्त क्रांतिकारी संगठन था। इसकी स्थापना 1830 ई० के दशक में ज्युसेपी मेत्सिनी ने एकीकृत इटली के विचारों को प्रसारित करने के लिए की थी।
11. जर्मन पंचांग को कब और किसने बनाया ?
उत्तर — जर्मन पंचांग या तिथिक्रम का मुखपृष्ठ 1798 ई० में पत्रकार ऐड्रियास रेबमान ने डिजाइन किया था।
12. बैंक ऑफ फ्रांस की स्थापना किसने की ?
उत्तर — बैंक ऑफ फ्रांस की स्थापना नेपोलियन बोनापार्ट ने किया था।
13. "लोगों को अपनी आजादी मुट्ठी में कर लेनी चाहिए यह किसका कथन है?
उत्तर — . "लोगों को अपनी आजादी मुट्ठी में कर लेनी चाहिए" यह कथन ऐड्रियास रेबमान का है।
14. वियना सम्मेलन की मेजबानी किसने की थी?
उत्तर — ऑस्ट्रिया के चांसलर ड्यूक मैटेरनिख ने।
15. मताधिकार किसे कहते हैं?
उत्तर — वोट देने के अधिकार को मताधिकार कहा जाता है।
16. काला, लाल और सुनहरा झंडा किस देश का था?
उत्तर — जर्मनी
17. नेपोलियाई युद्धों की शुरुआत किस आक्रमण से हुआ?
उत्तर — इटली
18. इटली का एकीकरण कब हुआ?
उत्तर — 1861
19. जर्मनी का एकीकरण कब हुआ?
उत्तर — 1871
20. प्रथम विश्वयुद्ध कब हुआ?
उत्तर — 1914
प्रश्न 05. सत्य / असत्य बताइये :--
1. वियना सम्मेलन की मेजबानी ऑस्ट्रिया के चांसलर मेटरनीख ने की थी।
उत्तर — सत्य
2. 1804 की नागरिक संहिता को आमतौर पर हिटलर की संहिता के नाम से जानते हैं।
उत्तर — असत्य
3. लाल टोपी, तिरंगा और कलगी स्वतंत्रता और गणतंत्र के चिन्ह थे।
उत्तर — सत्य
4. नेपोलियन बोनापार्ट इटली का राजा था.
उत्तर — असत्य
5. उदारवादी सभी को मताधिकार के पक्ष में थे.
उत्तर — असत्य
6. जर्मन संघ 39 भागों में विभाजित था.
उत्तर — सत्य
7. पोलनेस और माजुरका का सम्बन्ध पोलैंड से है.
उत्तर — सत्य
8. यूरोप में महिलाओ और पुरुषों के बीच कोई भेदभाव नहीं किया जाता था.
उत्तर — असत्य
9. केसर विलियम प्रथम जर्मनी का पहला राजा था.
उत्तर — सत्य
10. ला टालिया विक्टर एमेनुएल की पत्नी थी.
उत्तर — असत्य
11. इटली के एकीकरण में अंतिम बाधा रोम था.
उत्तर — सत्य
गायत्री कोचिंग क्लासेस चौरई
अतिलघुउत्तरीय प्रश्न-02 अंक
1. जॉलवेराइन नामक शुल्क संघ क्या था और इसकी स्थापना क्यों की गई?
उत्तर - जॉलवेराइन नामक शुल्क संघ की स्थापना प्रशिया के अनुरोध पर 1834 ई० को हुई जिसमें लगभग सभी जर्मन राज्य शामिल हुए। इस संघ ने बहुत से शुल्क अवरोधों को समाप्त कर दिया और मुद्राओं की संख्या 30 से घटाकर 2 कर दी।
प्रश्न 2 . 'जब फ्रांस छींकता है तो बाकी यूरोप को सर्दी-जुकाम हो जाता है। यह कथन किसका है?
उत्तर - मैटरनिख।
3. जर्मनी के एकीकरण के मुख्य निर्माता कौन-कौन थे?
उत्तर - (क) प्रशिया का शासक विलियम प्रथमा
(ख) प्रशिया का चांसलर बिस्मार्क।
उत्तर
4. इटली के एकीकरण के मुख्य कर्णधार कौन-कौन थे?
उत्तर
(क) इटली के मेजिनी. कावूर और गैरीबाल्डी जैसे महान क्रांतिकारी और विचारक।
(ख) सार्जीनिया का शासक विक्टर इमेनुयल द्वितीय।
5.जर्मन राइन महासंघ की स्थापना किसने की ?
उत्तर. जर्मन राइन महासंघ की स्थापना नेपोलियन ने की।
6. 'वियना कांग्रेस (सम्मेलन) में फ्रांस में किस राजवंश की पुनर्स्थापना की गई ?
उत्तर - वियना कांग्रेस 1815 द्वारा फ्रांस में बूर्बो राजवंश की पुनर्स्थापना की गई।
7. यूरोप में राष्ट्रवाद की शुरुआत कब और कैसे हुई?
उत्तर - यूरोप में नये राष्ट्रों के निर्माण की प्रक्रिया 1789 में शुरु होने वाली फ्रांस की क्रांति के साथ शुरु हो गई थी। उत्तर
8. राष्ट्रवाद की पहली अभिव्यक्ति कब और कहाँ हुई?
उत्तर - राष्ट्रवाद की पहली अभिव्यक्ति फ्रांस में 1789 में हुई।
9. औद्योगीकरण के फलस्वरूप यूरोप में कौन से नए सामाजिक समूह अस्तित्व में आए?
उत्तर - श्रमिक वर्ग के लोग और मध्य वर्ग जो उद्योगपति तथा व्यापारी इत्यादि थे।
10. उदारवाद का अर्थ बताइए।
उत्तर - उदारवाद यानि (Liberalism) मध्य वर्गो के लिए उदारवाद का मतलब था व्यक्ति के लिए आजादी और कानून के समक्ष बराबरी।
11. 19वीं शताब्दी में उदारवाद की आर्थिक क्षेत्र में प्रमुख मांग क्या थी?
उत्तर — उदारवाद, बाजारों की मुक्ति और चीजों तथा पूँजी के आवागमन पर राज्य द्वारा लगाए गए नियंत्रणों को खत्म करने के पक्ष उत्तर में था।
12. ज्यूसेपी मेत्सिनी ने किन दो भूमिगत संगठनों की स्थापना की?
उत्तर — ज्युसेपे मेत्सिनी ने निम्नलिखित दो भूमिगत संगठनों की स्थापना की
1. मासेई में यंग इटली
2. बर्न में यंग यूरोप
13.कब और किस संधि के द्वारा यूनान को स्वतंत्र राष्ट्र की मान्यता मिली?
उत्तर - 1832 को कुस्तुनतुनिया की संधि के द्वारा।
14. रूमानिवाद किस विचारधारा का प्रतिनिधित्व कर रहा था?
उत्तर - रूमानिवाद एक साझा सामूहिक विरासत की अनुभूति और एक साँस्कृतिक अतीत को राष्ट्र का आधार बनाया गया था।
15. कैराल कुर्पिस्की का पोलैंड के संघर्ष में योगदान बताइए।
उत्तर -कैरॉल कुर्पिस्की ने राष्ट्रीय संघर्ष का अपने ऑपेरा और संगीत का गुणगान किया और पोलनेस तथा माजुरका जैसे लोक नृत्यों को राष्ट्रीय प्रतीकों में तब्दील कर दिया।
16. ब्रितानी राष्ट्र में रहने वाले प्रमुख नृजातीय समूह कौन से थे ?
उत्तर ब्रितानी राष्ट्र में रहने वाले प्रमुख नृजातीय समूह वेल्श, स्कॉट, आयरिश और अंग्रेज थे।
17.उदारवादी आन्दोलन में महिलाओं की सक्रिय भूमिका के दो बिंदुओं को लिखिए।
उत्तर उदारवादी आंदोलन में महिलाओं की प्रमुख सक्रिय भूमिका निम्न है :-
1. महिलाओं ने अपने राजनीतिक संगठन स्थापित किए।
2. उन्होंन अखबार शुरू किए और राजनीतिक बैठकों और प्रदर्शनों में शिरकत की।
18. 'फ्रांसीसी क्रांति के रूपक चिन्ह कौन कौन से थे?
उत्तर - फ्रांसीसी क्रांति के रूपक चिन्ह मॉरीआन, तिरंगा, लाल टोपी तथा कलगी थे।
19. जर्मेनिया का अर्थ बताइए।
उतर - जर्मेनिया, जर्मन राष्ट्र का रूपक है। चाक्षुश अभिव्यक्तियों में बलूत वृक्ष के पत्तियों का मुकुट पहनती है। क्योंकि जर्मन बलूत वीरता का प्रतीक है।
20. बॉल्कन क्षेत्र में आने वाले प्रमुख राज्यों के नाम लिखिए।
उतर - रोमानिया, बुल्गारिया, यूनान, क्रोशिया, आदि।
21. जनमत संग्रह से क्या तात्पर्य है?
उत्तर- एक प्रत्यक्ष मतदान जिसके जरिए एक क्षेत्र के सभी लोगों से कोई प्रस्ताव स्वीकृत या अस्वीकृत कराया जाता है।
22. राष्ट्रवाद क्या है?
उत्तर - सामान्य अर्थों में राष्ट्रवाद का अर्थ अपने राष्ट्र के प्रति सोच और लगाव की भावना का विकास करना है। दूसरे अर्थों में राष्ट्रवाद एक ऐसी भावना है जो किसी विशेष भौगोलिक, सांस्कृतिक या सामाजिक परिवेश में रहने वाले लोगों में एकता की वाहक बनती है।
23. 1830 की जुलाई क्रांति का फ्रांस पर क्या प्रभाव पड़ा?
उत्तर - 1830 की जुलाई क्रांति के परिणामस्वरूप फ्रांस में निरंकुश राजशाही का स्थान संवैधानिक गणतंत्र ने ले लिया। इस क्रांति ने फ्रांसीसी क्रांति के सिद्धांतों को पुनर्जीवित किया तथा फ्रांस में उदारवादी मध्यमवर्ग का राजनीतिक महत्त्व बढ़ गया।
1. निम्नलिखित पर टिपण्णी लिखें
(क) ज्युसेपे मेत्सिनी
उत्तर (क) ज्युसेपे मेत्सिनी-
ज्युसेपे मेत्सिनी इटली के एक क्रांतिकारी थे। उनका जन्म 1807 में जेनोआ में हुआ था। वह कार्बोनारी नमक गुप्त क्रांतिकारी संगठन का सदस्य बन गये था। जब वह 24 वर्ष के थे तभी उनको लिगुरिया में क्रांति की कोशिश के आरोप में देश निकाला दे दिया गया था। उसके बाद उन्होंने दो और गुप्त संगठनों की स्थापना की, पहले मार्सेई में यंग इटली के नाम से और फिर बाद में बर्न में यंग यूरोप के नाम से। मेत्सिनी का मानना था कि भगवान ने राष्ट्र को ही मनुष्यों की प्राकृतिक इकाई बनाया था। इसलिए इटली को एक एकीकृत गणराज्य बनाना जरूरी था। मेत्सिनी का अनुसरण करते हुए जर्मनी, स्विट्जरलैंड और पोलैंड में कई गुप्त संगठन बनाये गये। रुढ़िवादी लोगों में मेत्सिनी के नाम का खौफ था।
(ख) काउंट कैमिलो दे काबर
उत्तर - काउंट कैमिलो दे काबूर
इटली के एकीकरण में काउंट कैमिली दे कावूर की महत्वपूर्ण भूमिका रही है। वह पीटमोंड साडीनिया का प्रधानमंत्री था. काबूर न तो कोई क्रांतिकारी था और न ही जनतंत्र में विश्वास रखने वाला राजनेता. वह भी इटली के कई अन्य अभिजात वर्ग के लोगों की तरह पैसे वाला अमीर और सुशिक्षित थे। उसकी भी पकड़ इतालवी भाषा के मुकाचले फ्रेंच भाषा पर अधिक थी। काबूर ने फ्रांस से एक कूटनीतिक गठबंधन किया और 1859 में ऑस्ट्रिया की सेना को हरा दिया। उस लड़ाई में सैनिकों के अलावा कई सशस्त्र स्वयंसेवकों ने भी भाग लिया था जिनकी अगुवाई गैरीबाल्डी कर रहे थे। सन 1869 की मार्च के महीने में वे दक्षिण इटली और दो सिसली के राज्य को ओर बढ़े। उन्होंने स्थानीय किसानों का समर्थन जीता और फिर स्पैनिश शासकों को सत्ता से हटा दिया। 1861 में विक्टर एमानुयेल को एकीकृत इटली का राजा घोषित किया गया। कावूर उस एकीकृत इटली के प्रधानमंत्री बन गये।
(ग) यूनानी स्वतंत्रता संग्राम
उत्तर - पंद्रहवी शताब्दी में यूनान ऑटोमन साम्म्राज्य का हिस्सा था. यूनान की आजादी का संघर्ष 1821 में शुरु हुआ था। जिन लोगों को देश से निकाल दिया गया था उन्होंने यूनान के राष्ट्रवादियों को भारी समर्थन दिया। पश्चिमी यूरोप के लोग प्राचीन ग्रीक संस्कृति का सम्मान करते थे, इसलिए उन्होंने भी ग्रीस के राष्ट्रवादियों का समर्थन किया। कवियों और कलाकारों ने जन भावना को राष्ट्रवादियों के पक्ष में करने की भरपूर कोशिश की। आखिरकार 1832 में कुस्तुन्तुनिया की संधि हुई और यूनान को एक स्वतंत्र देश की मान्यता मिल गई। यूनान की आजादी की लड़ाई से पूरे यूरोप के पढ़े लिखे वर्ग में राष्ट्रवाद की भावना और मजबूत हुई।
(घ) फ्रैंकफर्ट संसद
उत्तर -
फ्रैंकफर्ट संसद-
फ्रैंकफर्ट संसद का सम्बन्ध जर्मन राष्ट्र के निर्माण से है. जर्मनी में मध्यम वर्गीय लोगों के राजनैतिक संगठनों के सदस्यों ने मिलकर एक सर्व जर्मन एसेंबली के लिये वोट किया और 18 मई 1848 को 831 चुने प्रतिनिधियों का जुलूस सेंट पॉल के चर्च में आयोजित फ्रैंकफर्ट पार्लियामेंट की ओर चल पड़े। उस पार्लियामेंट में एक जर्मन राष्ट्र का संविधान बनाया गया और उस संविधान के अनुसार प्रशा के राजा फ्रेडरिक विल्हेम (चतुर्थ) को जर्मनी का शासन सौंपने की पेशकश की गई। लेकिन उसने इस अनुरोध को ठुकरा दिया और उस चुनी हुई संसद का विरोध करने के लिए अन्य राजाओं से हाथ मिला लिया। सैन्य बल का प्रयोग कर इस संसद के प्रयासों को दबा दिया गया.
(ड.) राष्ट्रवादी संघर्ष में महिलाओं की भूमिका
उत्तर - राष्ट्रवादी संघर्ष में महिलाओं की भूमिका-
उदारवादी आंदोलन में महिलाओं ने भी भारी संख्या में हिस्सा लिया। इसके बावजूद, एसेंबली के चुनाव में उन्हें मताधिकार से वंचित किया गया। जब सेंट पॉल के चर्च में फ्रैंकफर्ट पार्लियामेंट बुलाई गई तो महिलाओं को केवल दर्शक दीर्घा में बैठने की अनुमति मिली।
1. राष्ट्रवादी संघर्षों में महिलाओं ने महत्वपूर्ण भूमिका अदा की।
2. राष्ट्रवादी आंदोलन में सभी यूरोपीय राज्यों जैसे फ्रांस, इटली की महिलाओं ने सक्रिय भाग दीया।
3. महिलाओं ने अपने अनेक राजनीतिक संगठनों की उत्पत्ति की।
4. इन्होंने खुद के समाचार पत्र शुरू किए।
5. नारी रूपकों का आविष्कार कलाकारों ने 19वीं सदी में किया।
6. महिलाओं ने अधिक मात्रा में प्रदर्शनों और राजनितिक बैठको में अपनी महत्वपूर्ण भागीदारी निभाई।

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